भारत अपनीआजादी के बाद हर क्षेत्र में तरक्की की बुलंदियों को छूया है। लेकिन भारत में आज भी कई ऐसी जगह हैं जो काफी पिछड़े हुए हैं। ऐसी ही एक चौंकाने वाली घटना केरल की 19वीं सदी की है। जब निचली जाती की महिलाओं के पर एक ऐसा टैक्स लगाया जाता था जिसे सुनकर हर कोई दंग रह जायेगा। यहां महिलाओ को अगर किसी सार्वजनिक जगह पर जाना होता था तो उन्हें अपने स्तन ढंकने के लिए टैक्स देना पड़ता था।
महिलाओ को अपने शरीर का ऊपरी हिस्सा ढकने की इजाजत नहीं
केरल में निचली जाती की महिलाओ के लिए कठोर नियम बनाये गए थे। इस नियम के मुताबिक महिलाओ को अपने शरीर का ऊपरी हिस्सा ढकने की इजाजत नहीं थी। महिलाओ को उन्हें अपने स्तन ढंकने के लिए टैक्स देना पड़ता था। महिला के स्तन ढंकने के लिए टैक्स उसके स्तन के आकार के ऊपर लगता था। अगर महिला के स्तन का आकर छोटा रहता था तो उसे कम टैक्स भरना पड़ता था। इस टैक्स का प्रावधान राजा त्रावणकोर ने किया था। इस टैक्स को बहुत सख्ती से लागू किया गया था और इस टैक्स के न देने और इस आदेश को न मानने वाली महिलाओं को सजा भी दी जाती थी। नांगेली भी निची जाती में आने वाली महिला थी। उसने राजा के द्वारा लागए गए इस अमानवीय टैक्स का विरोध किया।
केरल में निचली जाती की महिलाओ के लिए कठोर नियम बनाये गए थे। इस नियम के मुताबिक महिलाओ को अपने शरीर का ऊपरी हिस्सा ढकने की इजाजत नहीं थी। महिलाओ को उन्हें अपने स्तन ढंकने के लिए टैक्स देना पड़ता था। महिला के स्तन ढंकने के लिए टैक्स उसके स्तन के आकार के ऊपर लगता था। अगर महिला के स्तन का आकर छोटा रहता था तो उसे कम टैक्स भरना पड़ता था। इस टैक्स का प्रावधान राजा त्रावणकोर ने किया था। इस टैक्स को बहुत सख्ती से लागू किया गया था और इस टैक्स के न देने और इस आदेश को न मानने वाली महिलाओं को सजा भी दी जाती थी। नांगेली भी निची जाती में आने वाली महिला थी। उसने राजा के द्वारा लागए गए इस अमानवीय टैक्स का विरोध किया।
वहां के राजा ने नांगेली के स्तन काट दिए
नांगेली ने अपने स्तन से कपड़े हटाने के लिए मना कर दिया और इस जुर्म के लिए वहां के राजा ने नांगेली के स्तन काट दिए। जिससे उसकी मौत हो गई। नानगेली के मरने के बाद निचली जाति के सभी लोग एक हो गए और विरोध प्रदर्शन करने लगे। इसके बाद इस कानून को हमेशा के लिए बंद कर दिया गया।
नांगेली ने अपने स्तन से कपड़े हटाने के लिए मना कर दिया और इस जुर्म के लिए वहां के राजा ने नांगेली के स्तन काट दिए। जिससे उसकी मौत हो गई। नानगेली के मरने के बाद निचली जाति के सभी लोग एक हो गए और विरोध प्रदर्शन करने लगे। इसके बाद इस कानून को हमेशा के लिए बंद कर दिया गया।